खतरे की जद में सिरमौर का खतवाड़ गाँव, डर के साए में जीने को मजबूर ग्रामीण

पावंटा विधानसभा क्षेत्र की उत्तराखंड के साथ सटी बनोर पंचायत के खतवाढ गांव के लोग डर के साए में जीने को मजबूर है दरअसल यहां पर हो रही माइनिंग के चलते गांव पर खतरा मंडरा रहा है क्योंकि माइनिंग से गांव लगातार धँसता जा रहा

Feb 7, 2024 - 19:20
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खतरे की जद में सिरमौर का खतवाड़ गाँव, डर के साए में जीने को मजबूर ग्रामीण

ग्रामीणों ने नाहन में DC से की मुलाकात

यंगवार्ता न्यूज़ - नाहन    07-02-2024

पावंटा विधानसभा क्षेत्र की उत्तराखंड के साथ सटी बनोर पंचायत के खतवाढ गांव के लोग डर के साए में जीने को मजबूर है दरअसल यहां पर हो रही माइनिंग के चलते गांव पर खतरा मंडरा रहा है क्योंकि माइनिंग से गांव लगातार धँसता जा रहा है।

समस्या को लेकर जिला मुख्यालय नाहन में ग्रामीणों ने डीसी सिरमौर से मुलाकात की और उसके बाद मीडिया के सामने अपनी परेशानी को रखा।खतवाड गांव के लोगों का कहना है कि यहां हो रही माइनिंग के चलते गांव को लगातार खतरा बढ़ रहा है इनका कहना है कि माइनिंग के चलते गांव के नीचे पूरा पहाड़ लगातार धंस रहा है जिसकी चलते गांव पर पूरी तरीके से खतरे की जद आया हुआ है।

माइनिंग संचालकों द्वारा सारा मलबा गाँव के किनारे  गिराया जा रहा है जिससे गाँव के नीचे भूमि कटाव हो गया है और मकान व जमीने लगातार धंस रही है।
लोगों का यह भी कहना है कि करीब आधा दर्जन परिवार यहां माइनिंग के चलते उजड़ भी चुके है गांव के लोगों का यह भी आरोप है कि कई बार इसकी शिकायत खनन महकमें को भी जा चुकी है मगर शिकायतों के बावजूद कोई भी कार्रवाई नहीं होती है। 

वहीं लोगों का यह भी कहना है कि हाल में एक हाई पावर कमेटी ने इस इलाके का दौरा किया था और कहा था कि यहां माइनिंग के दौरान जो मलबा गिराया गया है उसे तुरंत उठाया जाए मगर अभी तक वह मलबा नहीं उठाया गया है।

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