यंगवार्ता न्यूज़ - संगड़ाह 30-12-2023
शिमला के लोकसभा सांसद एवं पूर्व भाजपा अध्यक्ष सुरेश कश्यप ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार ने जहां गिरिपार वासियों की असंभव कही जाने वाली एसटी की मांग को पूरा किया , लेकिन प्रदेश में गत वर्ष सत्ता में आई कांग्रेस सरकार गिरिपार के हाटी समुदाय के प्रमाणपत्र रोकने के लिए बेमतलब के हथकंडे अपना रही है। उन्होंने कहा कि 55 साल पुरानी मांग सिरे चढ़ने पर गिरिपार की जनता को भाजपा के साथ खड़ा होता देख गत वर्ष तक पहले कांग्रेस नेता अधिसूचना दिखाने की बात कह रहे थे और अब स्पष्टीकरण संबंधी पत्र भिजवा कर अगले लोकसभा चुनाव तक इस अधिनियम को लटकाने की कोशिश कर रहे है।
उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश के इन्हीं अधिकारियों की संस्तुति और रिपोर्ट के आधार पर ही हाटी समुदाय को अनुसूचित जनजाति सूची में शामिल करने संबंधी विधेयक लोकसभा व राज्यसभा से पारित हुआ है और उस दौरान कांग्रेस सहित किसी भी दल ने इसका विरोध नहीं किया था। उन्होंने कहा कि महामहिम राष्ट्रपति से अधिसूचना जारी होने व कानून बनने के बाद ऐसे स्पष्टीकरण की जरूरत ही नहीं है और हिमाचल के लाहौल स्पीति व किन्नौर आदि की अनुसूचित जनजातियों की तर्ज पर ही यह अधिसूचना जारी हुई है। कश्यप ने कहा कि 1967 के बाद दशकों सत्ता में रही कांग्रेस चाहती तो बरसों पहले गिरिपार को एसटी का दर्जा मिल गया होता और आज भी इस पार्टी की नीयत रोड़ा अटकाने की है। सिरमौर प्रवास के दूसरे संगड़ाह में पत्रकारों से बातचीत में कश्यप ने कहा कि कांग्रेस की लटकाने , भटकाने व बंटवारे की सियासत ज्यादा दिन नहीं चलने वाली।
संगड़ाह में विद्युत विभाग के अधिशासी अभियंता व ददाहू में खंड विकास कार्यालय सहित रेणुकाजी विधानसभा क्षेत्र के दो दर्जन संस्थान बंद करने के लिए भी उन्होंने प्रदेश सरकार की निंदा की। उन्होंने कहा कि सुक्खू सरकार ने पहली केबिनेट में महिलाओं को 1500 ₹ मासिक व 1 लाख युवाओं को सरकारी नौकरी देने की गारंटी का वादा जहां साल बाद भी पूरा नहीं किया, वहीं गोबर व दूध खरीदने पर मुख्यमंत्री और उनके मंत्री मौन साध चुके हैं। इस प्रवास के दौरान भाजपा नेता नारायण सिंह व प्रताप तोमर आदि भी उनके साथ मौजूद रहे।