कांग्रेस की सरकार कितनी गंभीर, गंभीरता पर खड़े हो रहे अनेकों सवाल : कटवाल

भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष संजीव कटवाल ने कहा कांग्रेस की सरकार कितनी गंभीर, गंभीरता पर खड़े हो रहे अनेकों सवाल। कांग्रेस सरकार की हवा तो निकल ही चुकी है, जल्द वेंटिलेटर पर होगी। उन्होंने कहा कि खराब आर्थिक स्थिति के बावजूद रिसोर्स मोबलाइजेशन के लिए सरकारी सिस्टम में कितनी गंभीरता

Jul 21, 2024 - 13:55
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कांग्रेस की सरकार कितनी गंभीर, गंभीरता पर खड़े हो रहे अनेकों सवाल : कटवाल

यंगवार्ता न्यूज़ - ऊना    21-07-2024

भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष संजीव कटवाल ने कहा कांग्रेस की सरकार कितनी गंभीर, गंभीरता पर खड़े हो रहे अनेकों सवाल। कांग्रेस सरकार की हवा तो निकल ही चुकी है, जल्द वेंटिलेटर पर होगी। उन्होंने कहा कि खराब आर्थिक स्थिति के बावजूद रिसोर्स मोबलाइजेशन के लिए सरकारी सिस्टम में कितनी गंभीरता है, यह इसके लिए बनाई कैबिनेट सब- कमेटी की नोटिफिकेशन से पता चलता है। 

यह नोटिफिकेशन 12 जुलाई, 2024 की है, जिसे 20 जुलाई, 2024 को राज्य सरकार की इलेक्ट्रॉनिक गजट पर नोटिफाई किया गया, लेकिन इस नोटिफिकेशन में सब-कमेटी को रिपोर्ट देने के लिए 15 जुलाई, 2024 का समय दिया गया है। यानी इलेक्ट्रॉनिक गजट की डेट को भूल भी जाएं तो भी तीन दिन के भीतर राज्य के संसाधन बढ़ाने की रिपोर्ट देनी होगी। 

इस नोटिफिकेशन के अनुसार रिसोर्स मोबिलाइजेशन कमेटी का अध्यक्ष उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री को बनाया है, जबकि कृषि मंत्री चंद्र कुमार, उद्योग मंत्री हर्षवर्धन सिंह चौहान और टीसीपी मंत्री राजेश धर्मानी इसके सदस्य हैं। एडवाइजर प्लानिंग को इस सब कमेटी का मेंबर सेक्रेटरी नियुक्त किया है। अब देखना यह है कि कैबिनेट सब-कमेटी कब तक अपनी रिपोर्ट देता है, क्योंकि राज्य सरकार की नोटिफिकेशन के मुताबिक इन्हें 15 जुलाई, 2024 को रिपोर्ट देनी थी। 

प्रशासनिक स्तर पर हुई इसी चूक के कारण अब तक कैबिनेट सब- कमेटी की एक भी बैठक नहीं हो पाई है। यह नोटिफिकेशन मुख्य सचिव की ओर से की गई है। भाजपा का आरोप है कि कांग्रेस सरकार में चहेतों को कैबिनेट रैंक बांटे गए हैं। इस समय सीएम के मीडिया सलाहकार, राजनीतिक सलाहकार से लेकर विधायकों भवानी पठानिया, नंदलाल, आरएस बाली को कैबिनेट रैंक है। साथ ही सरकार ने छह सीपीएस बनाए हुए हैं। 

कैबिनेट रैंक का खर्च काफी अधिक होता है। इसमें गाड़ी, मकान, ऑफिस, स्टाफ का खर्च शामिल है। यदि कैबिनेट रैंक न दिए जाएं तो ये खर्च बच सकता है। पूर्व में भी विद्या स्टोक्स वाली कमेटी ने मितव्यता अपनाने से जुड़े सुझाव दिए थे, अकेले जीएस बाली की तरफ से चालीस सुझाए आए थे, लेकिन कमेटी की रिपोर्ट तत्कालीन सरकार ने सार्वजनिक नहीं की थी। 

अलबत्ता सुखविंदर सिंह सरकार ने सत्ता में आने के बाद प्रदेश की वित्तीय स्थिति पर श्वेत पत्र जरूर जारी किया था, उस कमेटी के मुखिया भी डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री ही थे।

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