हिमाचल प्रदेश को इस वर्ष सेब बागवानी में उठाना पड़ा 2,500 करोड़ रुपये का घाटा
हिमाचल प्रदेश को इस साल सेब बागवानी में 2,500 करोड़ रुपये का घाटा उठाना पड़ा। बारिश, ओलावृष्टि और असमय बर्फबारी के अलावा गर्मियों में तापमान में गिरावट के चलते इस बार सेब सीजन 1.80 करोड़ पेटी में ही सिमट गया
यंगवार्ता न्यूज़ - शिमला 04-12-2023
हिमाचल प्रदेश को इस साल सेब बागवानी में 2,500 करोड़ रुपये का घाटा उठाना पड़ा। बारिश, ओलावृष्टि और असमय बर्फबारी के अलावा गर्मियों में तापमान में गिरावट के चलते इस बार सेब सीजन 1.80 करोड़ पेटी में ही सिमट गया।
पिछले साल के मुकाबले 1.20 करोड़ पेटी कम उत्पादन हुआ। किन्नौर जिले में भी अब सेब सीजन खत्म हो गया है। हिमाचल प्रदेश की आर्थिकी में सेब का करीब 6,000 करोड़ का प्रत्यक्ष योगदान होता है।
इस साल सेब की फसल प्रभावित होने से करीब 2,500 करोड़ का सीधा नुकसान हुआ है। हालांकि किलो के हिसाब से सेब बिक्री की व्यवस्था शुरू होने से बागवानों को कम फसल के भी अच्छे दाम मिले हैं। मौसम की बेरुखी से इस साल सेब उत्पादन प्रभावित हुआ।
सर्दियों में पर्याप्त बर्फबारी नहीं हुई, जिससे चिलिंग ऑवर्स पूरे नहीं हुए। फरवरी में सूखे जैसे हालात रहे। मार्च से अगस्त तक बारिश का दौर रहा। बारिश, ओलावृष्टि और असमय बर्फबारी के अलावा गर्मियों में तापमान गिरने से फ्लावरिंग को नुकसान हुआ।
इस सीजन में सेब बागवानी में प्रदेश को करीब 2,500 करोड़ का सीधा नुकसान हुआ है। सरकार को राजस्व और कारोबारियों को व्यापार में नुकसान के अलावा बैंकिंग तक प्रभावित हुई है। प्रदेश सरकार को नुकसान का आकलन करवाकर भविष्य के लिए योजना बनानी चाहिए।
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