प्रदेश पावर कारपोरेशन ने 23 मेगावाट क्षमता की सोलर परियोजनाओं का किया आबंटन
हिमाचल प्रदेश पावर कारपोरेशन ने 23 मेगावाट क्षमता की सोलर परियोजनाओं का आबंटन कर दिया है। इनको तैयार करने के लिए 6 महीने का समय रखा
यंगवार्ता न्यूज़ - शिमला 24-01-2025
हिमाचल प्रदेश पावर कारपोरेशन ने 23 मेगावाट क्षमता की सोलर परियोजनाओं का आबंटन कर दिया है। इनको तैयार करने के लिए 6 महीने का समय रखा गया है जिसमें इनको पूरा करने के साथ उत्पादन में ला दिया जाएगा। पावर कारपोरेशन की क्षमता में इससे इजाफा होगा साथ ही कुछ और परियोजनाओं का भी सर्वे उसके द्वारा करवाया जा रहा है।
आने वाले समय में ऊना, सोलन, हमीरपुर व कांगड़ा जिलों में बड़े पैमाने पर सरकारी क्षेत्र में सोलर पावर प्रोजेक्ट लगाए जाएंगे। इससे पहले ऊना जिला में दो परियोजनाओं का पावर कारपोरेशन ने शुरू कर दिया है। हाल ही में चिन्हित 23 मैगावाट क्षमता के प्रोजेक्टों का टेंडर खुलने के बाद इनको आबंटित कर दिया गया है।
एक ही कंपनी के पास कुछ प्रोजेक्ट गए हैं जिनको निर्माण के लिए लक्ष्य दिया गया है। बताया जाता है कि सात्विक ग्रीन एनर्जी लिमिटेड को हिमाचल प्रदेश पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (एचपीपीसीएल) द्वारा सौर ईपीसी अनुबंध प्रदान किए गए हैं। जिन परियोजनाओं के लिए इस कंपनी के साथ करार किया गया है उसमेंं ऊना के लमलेहरी उपरली में 11 मेगावाट की सौर परियोजना और गोंदपुर बुल्ला में 12 मेगावाट की सौर परियोजना शामिल है।
सात्विक की दो सौर परियोजनाएं महत्वपूर्ण पर्यावरणीय प्रभाव का वादा करती हैं। लमलेहरी परियोजना 402,000 टन से अधिक कार्बन उत्सर्जन को कम करने और गोंदपुर परियोजना लगभग 457,000 टन कम करने का लक्ष्य रखती है। गोंदपुर परियोजना में अत्याधुनिक एन.टॉपकॉन प्रीमियम मॉड्यूल का उपयोग किया जाएगा जिससे सालाना 19.13 मिलियन यूनिट स्वच्छ ऊर्जा का उत्पादन होगा। लमलेहरी परियोजना में मोनो पीईआरसी सोलर पीवी मॉड्यूल शामिल होंगे जिससे सालाना 17.13 मिलियन यूनिट का उत्पादन होगा।
ये परियोजनाएं सौर प्रौद्योगिकी को आगे बढ़ाने और भारत के स्वच्छ ऊर्जा संक्रमण को आगे बढ़ाने का काम करेगी। समझौते के तहत इन परियोजनाओं की व्यापक डिजाइनिंग, आपूर्ति, इंजीनियरिंग और निर्माण के लिए यह कंपनी जिम्मेदार होगी जिससे सभी नियामक प्रावधानों के अनुपालन में निर्बाध निष्पादन सुनिश्चित होगा।
इसके अलावा पांच अन्य परियोजनाओं के लिए भी टेंडर कर दिए गए हैं जिनका भी जल्दी ही आबंटन कर दिया जाएगा। पावर कारपोरेशन चाहता है कि 6 महीने में यह परियोजनाएं पूरी हो जाएं ताकि उसका उत्पादन बढ़ जाए। राज्य में सरकार ने पावर कारपोरेशन को यह बड़ी जिम्मेदारी दी है जो सरकारी क्षेत्र में हाइड्रो के अलावा सौर ऊर्जा उत्पादन का भी काम करेगी। बताया जाता है कि कंपनी ने कई जगहों पर अपनी टीमें लगा रखी हैं जोकि अलग-अलग क्षेत्रों में सर्वेक्षण कर रही हैं। जल्दी ही इनकी रिपोर्ट सरकार को मिलेगी और सरकार आगे प्रोजेक्ट लगाने को लेकर निर्णय लेगी।
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